Rabar Ki Kheti:- रबर की खेती कर चमकाए अपनी फूटी हुई किस्मत, जाने क्या है खेती का पूरा तरीका, केरल सरकार द्वारा रबर की खेती करने वाले सभी किसानों को जबरदस्त खुशखबरी मिली है। सरकार की तरफ से रबर की न्यूनतम समर्थन मूल्य मतलब MSP में 10 रुपये की बढ़ोतरी कर दी गई है। सरकार की तरफ से रबर की खेती करने वाले सभी किसानों को प्रोत्साहन राशि प्रदान की जा रही है। राज्य के लगभग 1 लाख किसानों को जिसका सीधा फायदा मिल रहा है। आइए अब आपको इस रबर की खेती से जुड़ी जानकारी बताते है।
रबर की खेती के लिए उपयुक्त मिट्टी
रबर की खेती के लिए लेटराइट रेतीली लाल दोमट मिट्टी को उपयुक्त कहा जाता है। मिट्टी का पीएच लेवल 4.5 से 6.0 के बीच होना जरुरी है इससे पेड़ की अच्छी वृद्धि होती है। रबर की खेती के लिए आदिक पानी की जरूरत नहीं होती है। रबर की खेती केवल उन राज्यों में की करते है यहां अधिक बारिश होती है।
रबर की खेती के लिए उपज के लिए तापमान
रबर की खेती के लिए आपको न्यूनतम और अधिकतम तापमान 25 से 34 डिग्री सेल्सियस के मध्य होना जरुरी है। रबर की खेती में 80% सापेक्ष आर्द्रता खेती के लिए आदर्श कही जाती है। अधिक हवाओं वाले क्षेत्रों से बचाना होता है।
रबर की बुवाई का सही समय
रबर की खेती पौधे लगाने का सबसे बेहतर समय जून-जुलाई का माह होता है। रबर की खेती मुख्य रूप से पहाड़ी इलाकों में करते है।
रबर की खेती की तैयारी
रबर की खेती के लिए अच्छी प्रकार से जुताई करते है। इसको समतल कर लेना चाहिए। इसके बाद चुने हुए क्षेत्र को खरपतवार मुक्त रखना है। रबर की खेती उपयुक्त दूरी के अनुसार गड्ढे खोदें जाते है।
रबर की फसल की सिंचाई
रबर की खेती पौधा लग जाने के तुरंत बाद में ही हर पौधे को पानी देना होता है। इसके बाद में मिट्टी में नमी बना कर रखने के लिए आपको टाइम-टाइम पर जरुरत के अनुसार सिंचाई करनी जरुरी होती है।